सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

'Jokes Husband Wife' Social Media Jokes in Hindi Majedar Chutkule Hindi Funny Joke -जोक्स: टूट गया फूलदान पत्नी के गलती से, लड़ाई से निकला इसका ये हल

'Jokes Husband Wife' Social Media Jokes in Hindi Majedar Chutkule Hindi Funny Joke -जोक्स: टूट गया फूलदान पत्नी के गलती से, लड़ाई से निकला इसका ये हल

'Jokes Husband Wife' अगर आप सुबह-शाम हंसने की आदत डाल लें तो कोई भी बीमारी, चाहे मानसिक हो या शारीरिक आपके पास भी नहीं आएगी। इसीलिए हम आपके लिए कुछ ऐसे मजेदार चुटकुले लेकर आए हैं, जिन्हें पढ़ने के बाद आप हंसते-हंसते लोटपोट हो जाएंगे। तो चलिए शुरू करते हैं हंसने-हंसाने का ये सिलसिला...






Social Media Jokes in Hindi

सोनू बहुत दुखी था...
किसी ने पूछा क्यों टेंशन में हो...
सोनू- यार एक दोस्त को प्लास्टिक सर्जरी के लिए 2 लाख रुपये उधार दिए थे।
अब उसे पहचान नहीं पा रहा हूं...!!!



पत्नी के हाथ से घर की मेज पर रखा फूलदान टूट गया,
फिर दो घंटे लड़ाई के बाद यह साबित हुआ कि...
तीन साल पहले पति ने ही गलत जगह पर फूलदान रखा था...!!!




बैंक लूटने के बाद...
डाकू- तुमने मुझे देखा
क्लर्क- हां
डाकू ने क्लर्क को गोली मारकर एक आदमी से पूछा- तुमने कुछ देखा...
आदमी- नहीं, पर मेरी पत्नी ने देखा है,
साथ में कह रही है पुलिस को भी बताएगी...!!!




बॉयफ्रेंड अपनी गर्लफ्रेंड से- आओ तुम्हें चांद पर ले जाऊं।
गर्लफ्रेंड- अरे नहीं यार.....
ब्वॉयफ्रेंड- लेकिन क्यों?
लड़की- क्योंकि वहां वॉट्सऐप नहीं चलता है।



हथेली में अगर खुजली हो तो समझना कि...
खुजली का रोग हुआ है।
पैसा नहीं आता, उसके लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ती है...
खुजाने से अगर पैसा आता तो भालू और बंदर सबसे ज्यादा पैसे वाले होते...!!!




एक मच्छर परेशान बैठा था,
दूसरे ने पूछा - भाई क्या हुआ तुझे?
पहला बोला - यार गजब हो रहा है।
चूहेदानी में चूहा,
साबुनदानी में साबुन,
मगर मच्छरदानी में आदमी सो रहा है।




एक औरत मंदिर में बैठी रो रही थी...
पुजारी - क्या हुआ बेटी?
औरत - बाबा, कल रात मेरे पति गुजर गए।
पुजारी - ओहो... बहुत बुरा हुआ।
उन्होंने मरते वक्त कुछ कहा क्या बेटी?
औरत - हां, कह रहे थे 'मेरा गला छोड़ दे डायन'!
पुजारी बेहोश...

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

एक दिन अचानक हिंदी कहानी, Hindi Kahani Ek Din Achanak

एक दिन अचानक दीदी के पत्र ने सारे राज खोल दिए थे. अब समझ में आया क्यों दीदी ने लिखा था कि जिंदगी में कभी किसी को अपनी कठपुतली मत बनाना और न ही कभी खुद किसी की कठपुतली बनना. Hindi Kahani Ek Din Achanak लता दीदी की आत्महत्या की खबर ने मुझे अंदर तक हिला दिया था क्योंकि दीदी कायर कदापि नहीं थीं. फिर मुझे एक दिन दीदी का वह पत्र मिला जिस ने सारे राज खोल दिए और मुझे परेशानी व असमंजस में डाल दिया कि क्या दीदी की आत्महत्या को मैं यों ही व्यर्थ जाने दूं? मैं बालकनी में पड़ी कुरसी पर चुपचाप बैठा था. जाने क्यों मन उदास था, जबकि लता दीदी को गुजरे अब 1 माह से अधिक हो गया है. दीदी की याद आती है तो जैसे यादों की बरात मन के लंबे रास्ते पर निकल पड़ती है. जिस दिन यह खबर मिली कि ‘लता ने आत्महत्या कर ली,’ सहसा विश्वास ही नहीं हुआ कि यह बात सच भी हो सकती है. क्योंकि दीदी कायर कदापि नहीं थीं. शादी के बाद, उन के पहले 3-4 साल अच्छे बीते. शरद जीजाजी और दीदी दोनों भोपाल में कार्यरत थे. जीजाजी बैंक में सहायक प्रबंधक हैं. दीदी शादी के पहले से ही सूचना एवं प्रसार कार्यालय में स्टैनोग्राफर थीं. ...

आज के टॉप 4 शेर (friday feeling best 4 sher collection)

आज के टॉप 4 शेर ऐ हिंदूओ मुसलमां आपस में इन दिनों तुम नफ़रत घटाए जाओ उल्फ़त बढ़ाए जाओ - लाल चन्द फ़लक मज़हब नहीं सिखाता आपस में बैर रखना हिन्दी हैं हम वतन है हिन्दोस्तां हमारा - अल्लामा इक़बाल उन का जो फ़र्ज़ है वो अहल-ए-सियासत जानें मेरा पैग़ाम मोहब्बत है जहां तक पहुंचे - जिगर मुरादाबादी हुआ है तुझ से बिछड़ने के बाद ये मा'लूम कि तू नहीं था तिरे साथ एक दुनिया थी - अहमद फ़राज़ साहिर लुधियानवी कौन रोता है किसी और की ख़ातिर ऐ दोस्त सब को अपनी ही किसी बात पे रोना आया कैफ़ी आज़मी इंसां की ख़्वाहिशों की कोई इंतिहा नहीं दो गज़ ज़मीं भी चाहिए दो गज़ कफ़न के बाद बशीर बद्र दुश्मनी जम कर करो लेकिन ये गुंजाइश रहे जब कभी हम दोस्त हो जाएं तो शर्मिंदा न हों वसीम बरेलवी आसमां इतनी बुलंदी पे जो इतराता है भूल जाता है ज़मीं से ही नज़र आता है - वसीम बरेलवी मीर तक़ी मीर बारे दुनिया में रहो ग़म-ज़दा या शाद रहो ऐसा कुछ कर के चलो यां कि बहुत याद रहो - मीर तक़ी...

Maa Ki Shaadi मां की शादी- भाग 1: समीर अपनी बेटी को क्या बनाना चाहता था?

मां की शादी- भाग 1: समीर अपनी बेटी को क्या बनाना चाहता था? मां की शादी- भाग 1: समीर अपनी बेटी को क्या बनाना चाहता था? समीर की मृत्यु के बाद मीरा के जीवन का एकमात्र मकसद था समीरा को सुखद भविष्य देना. लेकिन मीरा नहीं जानती थी कि समीरा भी अपनी मां की खुशियों को नए पंख देना चाहती थी. संध्या समीर और मैं ने, परिवारों के विरोध के बावजूद प्रेमविवाह किया था. एकदूसरे को पा कर हम बेहद खुश थे. समीर बैंक मैनेजर थे. बेहद हंसमुख एवं मिलनसार स्वभाव के थे. मेरे हर काम में दिलचस्पी तो लेते ही थे, हर संभव मदद भी करते थे, यहां तक कि मेरे कालेज संबंधी कामों में भी पूरी मदद करते थे. कई बार तो उन के उपयोगी टिप्स से मेरे लेक्चर में नई जान आ जाती थी. शादी के 4 वर्षों बाद मैं ने प्यारी सी बिटिया को जन्म दिया. उस के नामकरण के लिए मैं ने समीरा नाम सुझाया. समीर और मीरा की समीरा. समीर प्रफुल्लित होते हुए बोले, ‘‘यार, तुम ने तो बहुत बढि़या नामकरण कर दिया. जैसे यह हम दोनों का रूप है उसी तरह इस के नाम में हम दोनों का नाम भी समाहित है.’’ समीरा को प्यार से हम सोमू पुकारते, उस के जन्म के बाद मैं ने दोनों परिवारों मे...